इंदिरा गांधी की आंख और कान कहे जाने वाले वरिष्ठ कांग्रेसी नेता आरके धवन का निधन

नई दिल्ली। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राजेंद्र कुमार धवन (आरके धवन) का सोमवार को 81 वर्ष की उम्र में निधन हो गया. वो भारत की पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के निजी सचिव थे और एक समय उन्हें भारत के सर्वाधिक शक्तिशाली लोगों में शामिल किया जाता था. धवन इंदिरा गांधी की हत्या के प्रत्यक्षदर्शी भी थे. आरके धवन इंदिरा गांधी के करीब आने वो अंतिम समय तक उनका साया बनकर रहे.

आपातकाल के दौरान वो सत्ता के बेहद प्रमुख स्तंभ बनकर उभरे और इंदिरा गांधी तक सूचना पहुंचाने में उनकी बड़ी भूमिका थी. इस दौरान होने वाली प्रशसानिक नियुक्तियों पर भी उनका स्पष्ट प्रभाव रहता था. हालांकि इंदिरा गांधी की मृत्यु के बाद राजीव गांधी ने धवन पर भरोसा नहीं किया और उन्हें सभी अहम पदों से हटा दिया गया.

धवन ने हमेशा इंदिरा गांधी और आपातकाल का बचाव किया. उन्होंने इंदिरा गांधी का बचाव करते हुए कहा था कि इतिहास उनके साथ न्याय नहीं कर रहा है, हालांकि वो आपातकाल को दौरान हुए अन्याय के लिए संजय गांधी को दोषी ठहराते थे. धवन ने 74 साल की उम्र में अचला मोहन से विवाह किया.

उनके निधन पर पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने दुख व्यक्त किया है. उन्होंने ट्वीट किया, ‘वो काफी बीमार थे, लेकिन मुझे ये अंदाज नहीं था कि वो इतनी जल्दी चले जाएंगे. पार्टी और सरकार में मेरे करीबी साथी के रूप में वो मुझे हमेशा याद रहेंगे.’

 

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