गोवा के आर्कबिशप ने कहा- ‘लोकतंत्र खतरे में है’, बीजेपी ने की आलोचना
नई दिल्ली। गोवा एवं दमन के आर्कबिशप फादर फिलिप नेरी फेर्राओ ने विवादित बयान देकर देश की राजनीति में भूचाल खड़ा कर दिया है. उन्होंने कहा कि संविधान खतरे में है और कई लोग असुरक्षा के माहौल में रह रहे हैं. आर्कबिशप के इस बयान की कई राजनीतिक दलों ने निंदा की है. बीजेपी के वरिष्ठ नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने तो फादर फिलिप को विदेशी सरकार का प्रतिनिधि बताते हुए उन्हें देश से निकालने की बात कही है.
बता दें कि मंगलवार को गोवा एवं दमन के आर्कबिशप फादर फिलिप नेरी फेर्राओ ने ईसाई समुदाय को लिखे गए एक पत्र में कहा कि संविधान को ठीक से समझा जाना चाहिए, क्योंकि आम चुनाव करीब आ रहे हैं. उन्होंने कहा कि कहा कि मानवाधिकारों पर हमले हो रहे हैं और लोकतंत्र खतरे में नजर आ रहा है.
लोकतंत्र पर बताया खतरा
लेटर में लिखा गया है कि देश में एक नई प्रवृति देखने को मिल रही है, जिसमें हमारे खाने-पीने, कपड़े पहनने के स्टाइल और पूजा करने के तरीकों पर नजर रखी जा रही है. यह एक तरह की संकीर्ण मानसिकता है. मानवाधिकारों पर हमले हो रहे हैं और लोकतंत्र को माने लकवा मार गया है. लैटर में लिखा गया है कि हमारा संविधान खतरे में है और यहीं कारण है कि ज्यादातर लोग यहां रहने में खतरा महसूस कर रहे हैं.
एक जून से पादरी वर्ष (पैस्टोरल ईयर) की शुरुआत के मौके पर जारी पत्र में गोवा एवं दमन क्षेत्र के ईसाई समुदाय को संबोधित किया गया है. पादरी वर्ष एक जून से 31 मई तक होता है.
We release pastor letters every year, this time some how 1-2 statements have been taken out of context & issue is created. Letter is on your website you must read it to understand context: Secretary of Goa Archbishop on Archbishop’s letter stating, ‘Our Constitution is in danger’ pic.twitter.com/fAi81Nwj1x
— ANI (@ANI) 5 जून 2018
बीजेपी ने की कड़ी आलोचना
फादर फिलिप का बयान मीडिया में आते ही देश की राजनीति में हड़कंप मच गया. बीजेपी ने उनके इस बयान की कड़ी निंदा की है. केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि अन्य देशों के मुकाबले भारत में अधिक स्वतंत्रता है और यहां के संविधान में अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के अधिक अधिकार दिए गए हैं.
बीजेपी के वरिष्ठ नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने आर्कबिशप की आलोचना करते हुए कहा कि फादर का बयान इस देश के लोकतंत्र और यहां की भाईचारे की संस्कृति पर हमला है. स्वामी ने ज़ी न्यूज से बातचीत करते हुए कहा कि देश के लोकतंत्र और संविधान के खिलाफ बात करने वाले लोगों को देश से बाहर निकाल देना चाहिए. ऐसे लोग यहां के भाईचारे को खंडित करने की कोशिश कर रहे हैं. सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा कि देश के खिलाफ बयान देने वाले आर्कबिशप को देश से निकालकर वेटिकन भेज देना चाहिए. आर्कबिशप विदेशी सरकार के प्रतिनिधि हैं.
उधर, आर्कबिशप के सचिव ने सफाई दी है कि हम हर साल पोस्टर और लैटर जारी करते हैं. इस बार भी यहीं किया है. लैटर में से कुछ स्टेटमेंट निकालकर उस पर राजनीति की जा रही है. उन्होंने कहा कि उनके लेटर या पोस्टर में ऐसा कुछ भी नहीं है, जिससे देश के लोकतंत्र पर चोट पहुंचे. उन्होंने कहा कि पूरा लेटर वेबसाइट पर पड़ा हुआ है.
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