जातीय संतुलन के लिए हो सकता है एक और मंत्रिमंडल का विस्तार!

mulayam-and-akhileshलखनऊ। मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने दो मंत्रियों की बर्खास्तगी की है और अभी एक-दो और उनके निशाने पर हैं। इस बीच कुछ नए चेहरों को भी मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने की बात चल पड़ी है। बर्खास्त किए गए मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति अति पिछड़ी जाति के हैं जबकि राजकिशोर सिंह क्षत्रिय हैं। सपा इस लिहाज से भी संतुलन साधने की कोशिश करेगी। इसके साथ ही जातीय संतुलन के लिए भी कार्यक्रम आयोजित किए जा सकते हैं।

विधानसभा चुनाव सामने है। अखिलेश यादव दोबारा सत्ता में लौटने के लिए अपनी पूरी ताकत लगा रहे हैं। वह सरकार की छवि के साथ ही अपनी इमेज को लेकर भी सतर्क हैं। मंत्रियों से लेकर नौकरशाही में अपनी मर्जी से फेरबदल कर वह विपक्ष का मुंह बंद करना चाहते हैं। विपक्ष ने लगातार कहा है कि उत्तर प्रदेश में साढ़े चार मुख्यमंत्री काम करते हैं। अखिलेश के सामने नई चुनौतियां भी हैं।

भ्रष्टाचार के आरोपों से घिरे होने और खराब छवि के बावजूद गायत्री प्रसाद प्रजापति और राजकिशोर सिंह वोट के समीकरण में सपा के लिए मुफीद रहे हैं। ऐसे में उन्हें किनारे करने से कहीं न कहीं गैप भरने की भी चुनौती है। चर्चा है कि अभी एक-दो और मंत्री बर्खास्त किए जा सकते हैं। मुख्यमंत्री तीन से चार मंत्रियों को शपथ दिला सकते हैं। संकेत मिल रहे हैं कि कम से कम दो मंत्री अति पिछड़ी जाति के बनाए जा सकते हैं जबकि क्षत्रिय को भी मौका मिल सकता है। विस्तार में पूर्वी उत्तर प्रदेश और पश्चिमी उप्र दोनों को अवसर मिल सकता है।

 

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