भारत की दो टूक- LAC पर चीन की आपत्ति गलत, हमें अपनी जिम्मेदारी मालूम

नई दिल्ली। भारत और चीन के बीच एक बार फिर शुरू हुए सीमा विवाद पर भारतीय विदेश मंत्रालय ने साफ किया कि LAC पर चीन की आपत्ति गलत है. भारतीय सैनिक भारत और चीन के बीच निर्धारित लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) की सीमा से परिचित हैं और इसका पालन करते हैं. हमें अपनी जिम्मेदारी मालूम है.

भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने चीन की LAC पर भारतीय गतिविधियों पर आपत्ति जताए जाने पर कहा कि चीन का दावा है कि भारत ने उस सेक्टर में जिन गतिविधियों को अंजाम दिया वो सही नहीं है.

गालवान नाला क्षेत्र में तनावपर्ण माहौल

इस बीच लद्दाख सेक्टर में वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) के पास भारत और चीन के फील्ड कमांडरों के बीच उत्तरी लद्दाख में गालवान नाला क्षेत्र में जारी गतिरोध को हल करने के लिए बातचीत चल रही है. गालवान नाला क्षेत्र में पिछले कई दिनों से तनावपर्ण माहौल बना हुआ है.

प्रवक्ता ने कहा कि भारतीय सैनिक भारत और चीन के बीच निर्धारित लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) की सीमाओं से परिचित हैं और इसका पूरी तरह से पालन करते हैं. हमें अपनी जिम्मेदारी मालूम है. सभी भारतीय गतिविधियां पूरी तरह से एलएसी के भारतीय क्षेत्र में कराई गई. वास्तव में, यह चीनी पक्ष है जिसने हाल ही में भारत के सामान्य गश्त पैटर्न में बाधा डालने की कोशिश की.

ANI

@ANI

Any suggestion that Indian security forces have undertaken activity across Line of Actual Control (LAC) is not accurate. We are fully aware of responsibility. In fact, it is Chinese side which has undertaken activity creating hindrance in regular patrolling: MEA Spokesperson

178 people are talking about this

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग ने कहा कि भारतीय पक्ष ने हमेशा से ही बहुत ही जिम्मेदार रुख अपनाया है. हम भारत की संप्रभुता बनाए रखने को लेकर प्रतिबद्ध हैं. उन्होंने कहा कि भारतीय सेना एलएसी पर उत्पन्न होने वाली किसी भी परिस्थिति को हल करने के लिए कई द्विपक्षीय समझौतों और प्रोटोकॉल में निर्धारित प्रक्रियाओं का सख्ती से पालन करती है.

शांतिपूर्ण तरीके से हल की कोशिशः MEA

तनावपूर्ण माहौल को कम करने के प्रयासों पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि दोनों तरफ से बातचीत के जरिए शांतिपूर्ण तरीके से समस्या को हल करने के लिए तंत्र स्थापित किया है.

उन्होंने कहा कि दोनों पक्ष आम सहमति के साथ किसी भी तात्कालिक मुद्दे के समाधान के लिए एक-दूसरे से बातचीत कर रहे हैं. भारतीय पक्ष अपने सीमा क्षेत्रों में शांति और शांति को बनाए के उद्देश्य को लेकर काम करने के प्रति दृढ़ता से प्रतिबद्ध है. भारत-चीन के बीच द्विपक्षीय संबंध को बनाए रखने के लिए यह बेहद जरुरी है.

नेपाल के साथ सीमा विवाद पर विदेश मंत्रालय ने कहा कि यह एकतरफा संशोधन कार्रवाई है, इसे हमारे द्वारा स्वीकार नहीं किया जाएगा. उम्मीद है कि नेपाली नेतृत्व भारत के साथ कूटनीतिक संवाद के लिए सकारात्मक माहौल बनाएगा.

विजय माल्या के प्रत्यर्पण को लेकर संपर्क में

दक्षिणी चीन सागर पर चीन के बारे में विदेश मंत्रालय ने कहा कि दक्षिणी चीन सागर वैश्विक कॉमन्स के तहत है. इस मसले पर सभी मतभेदों को कूटनीतिक रूप से हल किया जाना चाहिए.

कोरोना वायरस की उत्पत्ति को लेकर छिड़े विवाद पर विदेश मंत्रालय ने कहा कि हमारी स्थिति विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के प्रस्ताव में अच्छी तरह से परिलक्षित है.

भगोड़े कारोबारी विजय माल्या के भारत प्रत्यर्पण के मसले पर विदेश मंत्रालय ने कहा कि भारत सरकार इस संबंध में ब्रिटिश सरकार के साथ संपर्क में है.

 

देश-विदेश की ताजा ख़बरों के लिए बस करें एक क्लिक और रहें अपडेट 

हमारे यू-टयूब चैनल को सब्सक्राइब करें :

हमारे फेसबुक पेज को लाइक करें :

कृपया हमें ट्विटर पर फॉलो करें:

हमारा ऐप डाउनलोड करें :

हमें ईमेल करें : [email protected]

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button