राज्यसभा चुनाव : यूपी में तीन दलों पर सवार होकर पार होगी BSP की नैया

लखनऊ। 23 मार्च को होने वाले राज्यसभा चुनावों के लिए सोमवार (12 मार्च) तक नामांकन भरे जाएंगे. सभी दलों ने अपने-अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है और पार्टियां अपने संख्या बल के आधार पर जीत का समीकरण बैठा रही हैं. उत्तर प्रदेश की बात करें तो यहां बहुजन समाज पार्टी के सामने कई चुनौतियां खड़ी हैं. बीएसपी ने राज्यसभा के लिए अपने एक पूर्व विधायक भीमराव अंबेडकर का नाम घोषित किया है और इस चुनाव के लिए मायावती ने अपने धुर विरोधी पार्टी समाजवादी के साथ एक समझौता भी किया है. लेकिन बीएसपी के लिए राज्यसभा की महज एक सीट निकालने के लिए सपा की दोस्ती ही काफी नहीं है. उसे अन्य दलों के सहारे की भी जरूरत है. बीएसपी इस चुनाव में कांग्रेस, सपा और लोकदल के सहारे ही जीत हासिल कर सकती है.

सपा, कांग्रेस और लोकदल का सपोर्ट
उत्तर प्रदेश के राज्यसभा चुनाव में बहुजन समाज पार्टी के उम्मीदवार को कांग्रेस और राष्ट्रीय लोकदल के वोट मिलने तो पक्के हैं. साथ ही समाजवादी पार्टी के अतिरिक्त वोट भी मिलना लगभग तय है. आंकड़ों के हिसाब से देखें तो 403 सदस्यों वाली यूपी विधानसभा में बसपा के 19 सदस्य हैं. अगर उसे सपा के 10 अतिरिक्त प्रथम वरीयता के वोट, कांग्रेस के सात और रालोद का एक वोट मिल जाए तो वह 37 वोट पाकर अपने राज्यसभा के उम्मीदवार को आसानी से जिता सकती है.

सपा की तरफ से जया बच्चन
सपा के एक वरिष्ठ नेता ने कहा सपा की प्रत्याशी जया बच्चन के लिए पर्याप्त वोटों का इंतजाम करने के बाद भी 10 वोट बचेंगे जो कि बसपा प्रत्याशी को दिए जा सकते हैं. सपा प्रवक्ता सुनील सिंह साजन ने कहा कि इस बारे में कोई भी फैसला पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव जल्द ही लेंगे. हम सांप्रदायिक शक्तियों को रोकने के लिए हर तरह से तैयार हैं.

रालोद प्रवक्ता अनिल दुबे ने बताया कि पार्टी ने पहले ही राज्यसभा में बसपा को और विधान परिषद में समाजवादी प्रत्याशी को समर्थन करने का फैसला कर लिया है. कांग्रेस विधायक दल के नेता अजय सिंह लल्लू ने बताया कि कांग्रेस विधायक दल की बैठक में तय किया गया कि वह चुनाव में बसपा उम्मीदवार को वोट देंगे.

सपा, कांग्रेस के बीच हुए समझौते के मुताबिक उनकी पार्टी मध्य प्रदेश में राज्यसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी के प्रत्याशी को इस शर्त पर समर्थन करेंगी जब उसके सभी सात विधायक उत्तर प्रदेश राज्यसभा चुनाव में उनके प्रत्याशी को समर्थन करते हैं.

BSP के पास केवल 19 वोट
बसपा के पास 19 विधायक हैं. उसे अपना उम्मीदवार जिताने के लिए 18 और मतों की आवश्यकता होगी. बसपा ने भीमराव अंबेडकर को प्रत्याशी बनाया है. सपा के पास 47 विधायक हैं और उसने जया बच्चन को प्रत्याशी बनाया है. जया बच्चन को आवश्यक मत पड़ने के बाद भी सपा के पास 10 अतिरिक्त वोट बचेंगे. कांग्रेस के सात और रालोद का एक वोट जुड़ गए तो बसपा उम्मीदवार जीतने की स्थिति में होगा.

BJP के खाते में 8 सीटें
उत्तर प्रदेश राज्यसभा की दस सीटों के लिए नामांकन की अंतिम तारीख 12 मार्च है और अगर जरूरत पड़ी तो 23 मार्च को चुनाव होगा. 403 सदस्यों वाली उप्र विधानसभा में भाजपा और उसके सहयोगियों के पास 324 सीटें हैं. अभी हाल ही में भाजपा के नूरपूर के विधायक की सड़क दुर्घटना में मौत हो गई थी. समाजवादी पार्टी के 47, बसपा के 19, कांग्रेस के सात और रालोद का एक विधायक है. यूपी भाजपा के नेता जेपीएस राठौड़ के मुताबिक राज्यसभा में एक प्रत्याशी को जीतने के लिए 37 प्रथम वरीयता के वोटों की जरूरत होती है. अगर गणित के हिसाब से देखे तो 10 में से आठ सीटें पार्टी आसानी से जीत सकती है.

 

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