बुलंदशहर- AQI पहुंचा 347, पराली जलाने पर 16 किसानों पर FIR

सरकार और एनजीटी ने भले ही प्रदूषण नियंत्रण के लिए पराली जलाने पर पूर्णतया रोक लगा दी हो मगर यूपी के बुलंदशहर में किसान जमकर पराली जला रहे हैं , साथ ही गुड़ बनाने वाले क्रेसर भी जहरीला धुआं उगल वातावरण को प्रदूषित कर रहे हैं।

सरकार और एनजीटी ने भले ही प्रदूषण नियंत्रण के लिए पराली जलाने पर पूर्णतया रोक लगा दी हो मगर यूपी के बुलंदशहर में किसान जमकर पराली जला रहे हैं , साथ ही गुड़ बनाने वाले क्रेसर भी जहरीला धुआं उगल वातावरण को प्रदूषित कर रहे हैं। बुलंदशहर प्रशासन ने सेटेलाइट से पराली जलाने वाले 16 किसानों को चिन्हित कर उनके खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करायी है, जबकि लापरवाही के आरोप में 4 तहसील कर्मचारियों को प्रतिकूल प्रविष्टि और 2 को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है। हालांकि बुलंदशहर का AQI 347 तक पहुंच गया है और यह बोर्ड बता रहा है कि वातावरण में ये जहरीली गैस कितनी मात्रा में है।

तस्वीरें यूपी के बुलंदशहर की है, जहां खेतों में जल रही पराली और कृषि अपशिष्टओं से उठ रहा ये जहरीला धुआं वातावरण को प्रदूषित कर रहा है, मगर जैसे ही जिला प्रशासन को इसकी भनक लगी, तो जिला प्रशासन ने किसानों को चिन्हित कर प्रदूषण फैलाने वाले किसानों पर कार्यवाही करनी शुरू कर दी। बुलंदशहर के एडीएम फाइनेंस की माने तो बुलंदशहर के स्याना, खुर्जा, नर्सेना , अरनिया थाना क्षेत्रों में 18 किसानों को पराली और कृषि अपशिष्ट जलाए जाने पर चिन्हित किया गया, जिनमें से 16 पर अलग-अलग थानों में एफ आई आर दर्ज कराई गई है, जबकि 2 किसानों से ₹ 77 हज़ार 500 रुपये का अर्थदंड भी वसूला है।

हालांकि पराली जलाए जाने के मामले में लापरवाही बरतने के आरोप में जिला प्रशासन ने 4 तहसील कर्मियों को प्रतिकूल प्रविष्टि दी है और 2 को कारण बताओ नोटिस जारी किया है । हालांकि बुलंदशहर का AQI निरंतर बढ़ता जा रहा है। प्रदूषण नियंत्रण विभाग के इस बोर्ड को देखें तो इसमें AQI 347 तक पहुंच गया है, वहीं वातावरण में अमोनिया, कार्बन डाइऑक्साइड, बेंजीन , ओजोन, सल्फर डाइऑक्साइड और नाइट्रोजन की मात्रा बढ़ती जा रही है, जो स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हो सकती है। हालांकि जिला प्रशासन ने प्रदूषण फैलाने वालों और पराली जलाने वालों पर सख्त कार्यवाही करने का दावा किया है।

 

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