चीन की फिर धमकी- डोकलाम से नहीं हटा भारत तो होगा युद्ध, ये आखिरी चेतावनी

नई दिल्ली। डोकलाम विवाद को लेकर चीन की सरकार से ज्यादा चीनी मीडिया गर्म हो रहा है। गीदड़ भभकी के सिलसिले को ग्लोबल टाइम्स नए लेवल पर ले गया है। चाइना का सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स लगातार डोकलाम के लिए भारत को जिम्मेदार ठहराते हुए सेना हटाने की चेतावनी दे रहा है। इस बार ग्लोबल टाइम्स के संपादक ने एक वीडियो संदेश के जरिए भारत को आखिरी चेतावनी दी है। ग्लोबल टाइम्स के मुख्य संपादक हू जिजिन ने कहा है कि दिल्ली सबसे बुरे वक्त की तरफ जा रहा है। भारत की सेनाएं और सुरक्षा एजेंसियों पीएम नरेंद्र मोदी को गुमराह कर रही हैं। उन्हे सच नहीं बता रही हैं। ग्लोबल टाइम्स ने कहा है कि भारत ने जो नादानी 1962 में की थी वही फिर से करने वाला है।

ग्लोबल टाइम्स के मुख्य संपादक हू जिजिन शायद खुद को पूरे देश का नीति नियंता समझ रहे हैं। अखबार की तरफ से पहली बार पीएम मोदी का नाम लेकर धमकी दी गई है। आपको बताते हैैं कि इस पूरे वीडियो संदेश में क्या है। हू जिजिन ने कहा है कि नई दिल्ली अपने सबसे बुरे समय के लिए तैयारी नहीं कर रहा है। अगर भारत हमारी की चेतावनी को नजरअंदाज करता रहा तो जंग होकर रहेगी। भारत की सुरक्षा एजेंसियां नरेंद्र मोदी को अंधेरे में रखती रहीं तो युद्ध को टालना मुश्किल हो जाएगा। जिजिन ने कहा है कि भारत ने 1962 में भी सोचा था कि हम हमला नहीं करेंगे लेकिन आज इतिहास उठा कर देखे लें क्या हुआ था। भारत आज भी उतना ही नादान देश है।

ग्लोबल टाइम्स के संपादक की तरफ से ये धमकी हैरान करने वाली है। ग्लोबल टाइम्स चीन का सरकारी अखबार है। लिहाजा ये माना जाता है कि वो सरकार की भाषा बोलता है। तो क्या ये माना जाए कि ड्रैगन ने भारत को नए अंदाज में धमकी दी है। क्या शी जिनपिंग या फिर चीनी सेना में इतनी हिम्मत नहीं है कि वो खुल कर भारत को इस तरह की धमकी दे सकें। दरअसल ये पूरा खेल दबाव का है। जिनपिंग देख रहे हैं कि उनके दबाव का कोई असर नहीं हो रहा है। भारत डोकलाम पर मनोवैज्ञानिक बढ़त हासिल कर चुका है। लगातार धमकियों के बाद भी भारतीय सेना डोकलाम में तैनात हैं। इन सबको देख कर अब वीडियो संदेश के जरिए भारत को धमकी दी जा रही है।

बता दें कि डोकलाम विवाद पिछले एख महीने से दोनों देशों के बीच तनाव का कारण बना हुआ है। ये क्षेत्र भूटान में आता है और चीन इस पर अपना दावा करता है। भारत भूटान के पक्ष में है। जून के महीने में चीनी सेना द्वारा डोकलाम में सड़क निर्माण को लेकर विवाद शुरू हुआ था। भारतीय सेना ने इश निर्माण को रुकवा दिया था। इसी से ड्रैगन भड़का हुआ है। पिछले एक महीने से भारत को लगातार जंग की धमकी दी जा रही है। लेकिन जंग इतनी आसान नहीं होने वाली है। ड्रैगन को इस से काफी नुकसान होगा। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर ड्रैगन के इतने पंगे हैं कि वो अपनी पूरी ताकत भारत के खिलाफ जंग में नहीं लगा सकता है।

 

 

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