sensex_14तहलका एक्सप्रेस प्रतिनिधि
मुंबई। एशियाई बाजारों में मंगलवार को अच्छे आसार देखने के आसार नहीं मिल रहे हैं। जापान के बाजार में निचले स्तरों से जोरदार रिकवरी के बाद एशियाई मार्केट्स में तेजी लौटने के संकेत मिले थे। लेकिन चीन के बाजार में खुलते ही गिरावट आ गई। मंगलवार को सेंसेक्स 17.02 प्वाइंट बढ़कर 25758.58 पर और निफ्टी 490.95 प्वाइंट गिरकर 7809.00 पर खुला।
एशियाई मार्केट्स में अभी तक क्या हुआ?
मंगलवार के सत्र में एशियाई मार्केट्स भारी गिरावट के बाद रिकवर हो चुके है। अब ज्यादातर मार्केट्स हरे निशान में कारोबार कर रहे है। हालांकि सोमवार को अमेरिकी मार्केट्स में आई भारी गिरावट से एशियाई मार्केट्स की शुरुआत बड़ी कमजोरी के साथ हुई थी। जापान का प्रमुख इंडेक्स निक्केई 3 फीसदी नीचे खुला था। जबकि चीन के बाजारों में छह फीसदी की शुरुआत गिरावट देखने को मिली थी। लेकिन चीन के सेंट्रल बैंक की ओर से उठाए गए बड़े कदमों का असर अब सभी प्रमुख इंडेक्स पर है। मार्केट एक्सपर्ट्स मानते है कि मूडीज के इंडियन इकॉनोमी को लेकर जारी किए सकारात्मक बयान से सेंसेक्स और निफ्टी में तेजी की उम्मीद है। साथ ही एशियाई बाजारों में सुधार का फायदा भी इंडियन स्टॉक मार्केट पर दिखेगा।
रुपया भी संभला
मंगलवार को सेंसेक्स और निफ्टी में बढ़त के साथ रुपया भी संभला। डॉलर में कमजोरी के चलते रुपया भी लुढ़कर कर नीचे आ गया था। आज इसमें सुधार हुआ है। आज डॉलर के मुकाबले रुपया 11 पैसे की बढ़त के साथ 66.55 के स्तर पर खुला। सोमवार को रुपया डॉलर के मुकाबले 81 पैसे की गिरावट के साथ 66.64 पर बंद हुआ था। रुपया सितंबर 2013 के बाद से सबसे निचले स्तर पर बंद हुआ था।
सोमवार को क्या हुआ था?
सोमवार को शेयर बाजार 1625 प्वाइंट गिर गया। वजह रहा चीन। बीएसई के 140 साल के इतिहास में सबसे बड़ी गिरावट। 6 घंटे में मार्केट कैप 7 लाख करोड़ घट गया। वैसे, सिर्फ 2 % भारतीय परिवार ही शेयरों में इन्वेस्ट करते हैं, लिहाजा नुकसान बड़ा नहीं।
सोमवार को बाजार गिरने की तीन बड़ी वजहें
1. चीन मंदी के कगार पर है। वहां मैन्युफैक्चरिंग 6.6 साल के निचले स्तर पर पहुंच चुकी है। चीनी सरकार ने पेंशन फंड से 10 लाख करोड़ रुपए शेयरों में लगाने की भी घोषणा कर दी। पर कोई उपाय काम नहीं आया।
2. अमेरिकी बाजारों में शुक्रवार को चार साल की सबसे बड़ी गिरावट (3%) आई। इसका असर सोमवार को भारतीय बाजारों पर हुआ। अमेरिकी बाजार सोमवार को भी 1.5% तक गिर चुका था।
3. अमेरिका का फेडरल रिजर्व ब्याज दरें बढ़ाने के संकेत दे चुका है। इससे विदेशी निवेशक भारत और चीन जैसे देशों से पैसे निकाल रहे हैं। एफआईआई ने सोमवार को ही भारतीय बाजार से 5,275 करोड़ रु. निकाले।
 

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